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उत्तराखण्ड: मां ने अपनी 9 साल की बच्ची को मार डाला और सौतेले बाप ने लाश को ठिकाने लगाया

कहते है मां अगर डायन बन जाए तो भी अपने बच्चों को नही खाती, लेकिन रुड़की के मंगलौंर इलाके में एक वारदात ने इस कहावत को झूठा साबित कर दिया। रुड़की के मंगलौंर थाना क्षेत्र के एक गाँव में एक माँ ने ही अपनी नौ साल की मासूम बच्ची की हत्या कर दी, इसके बाद बच्ची के शव को पास के खेत के फेंक दिया। और इस वारदात में बच्ची की माँ और सौतेला बाप शामिल रहा। अपने ऊपर लगे खून के धब्बे मिटाने के लिए फिर षड्यंत्र रचा गया, सौतेला बाप मंगलौंर थाने पहुँचा और बच्ची की गुमशुदगी दर्ज कराई।

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जानकारी के मुताबिक 27 अक्टूबर को नरेश कुमार पुत्र प्रेम सिंह निवासी ग्राम हथियाथल थाना मंगलौर ने थाना पुलिस को तहरीर देकर बताया कि उसकी पुत्री प्रीति उर्फ परी उम्र 9 वर्ष घर से अचानक गायब हो गयी, जिसको आसपास काफी तलाश किया गया, लेकिन कुछ पता नही चल पाया। तहरीर के आधार पर गुमशुदगी दर्ज करते हुए कार्यवाही शुरू की गई. गुमशुदा की तलाश हेतू वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक हरिद्वार के आदेश व पुलिस अधीक्षक ग्रामीण व क्षेत्राधिकारी मंगलौर के निर्देशन में थाना मंगलौर से टीमें गठित की गई. पुलिस टीम द्वारा गुमशुदा की तलाश हेतू गांव के आस पास संदिग्ध लोगो से पूछताछ की गई तथा सीसीटीवी की फुटेज खनगाले गए. एक नवम्बर को कन्ट्रोम रूम द्वारा सूचना मिली कि ग्राम हथियाथल आश्रम के पीछे गन्ने के खेत में एक बालिका का शव पड़ा है. सूचना पर प्रभारी निरीक्षक मंगलौर पुलिस टीम सहित पहूँचे तो शव की पहचान ग्रामीणो व परिजनो द्वारा गुमशुदा प्रीति उर्फ परी के रुप में की गयी.

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वादी व अपहृता की माता पूनम से पूछताछ करने पर दोनो के बयानो में भिन्नता पायी गयी। पूछताछ में तथ्य प्रकाश में आया कि प्रीति उर्फ परी पूनम के पहले पति विनोद निवासी दाबकी जिला सहारनपुर की लडकी थी और मंदबुद्धि भी थी. वारदात के दिन नरेश व पूनम दोनो बबलू त्यागी के खेतों में रोज की भाँति काम करने गये थे अपने दोनो छोटे बच्चों को प्रीति के साथ घर में छोड गये थे दिन में करीब दो बजे पूनम घर आयी तो दोनों छोटे बच्चे घर में अकेले शौच में सने थे और परी घर पर मौजूद नही थी पूनम ने गुस्से में बच्चो की साफ सफाई की तथा परी को ढूंढा जो नही मिली जब शाम को अँधेरे में परी घर पर आयी तो पूनम ने उसे डराने के लिये गुस्से में परी के सिर पर डंडा लग गया और वह बेहोश हो गयी.

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पूनम ने बच्ची को हिलाया-डुलाया तो वह कुछ नही बोली, जिसे पूनम ने डर के कारण पलंग के नीचे खिसका दिया। जब रात करीब सात बजे नरेश काम से घर पर आया तो पूनम ने उसे बताया कि मैने प्रीति को डराने के लिए डण्डे से मारा जिससे वह मर गयी. मैने उसे पलंग के नीचे रखा है. फिर नरेश ने पूनम को बचाने के लिए उसी दिन आधी रात लगभग दो बजे के बीच लडकी की लाश को शॉल में लपेटकर गाँव के बाहर आश्रम के पीछे गन्ने के खेत में डाल दिया। फिर अगले दिन 27 अक्टूबर को नरेश ने थाना कोतवाली मंगलौर पर अपनी लडकी प्रीति उर्फ परी के गुम होने की रिपोर्ट दर्ज करायी। थाना मंगलौंर में एसपी देहात नवनीत सिंह ने मामले का खुलासा करते हुए बताया की आरोपी माता पिता को गिरफ्तार किया गया है। और उनकी निशानदेही पर हत्या में प्रयुक्त समान भी बरामद किया है।

साभार:  khabaruttarakhand.com


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