प्राइवेट नौकरी वाले कर्मचारियों की तनख्वाह या मजदूरी न देने वालों को सरकार ने 15 अप्रैल तक की मोहलत दी है। इसके बाद वेतन नहीं चुकाने वाले फैक्ट्रियों, निजी संस्थानों और ठेकेदारों के खिलाफ श्रम विभाग मुकदमा दर्ज करेगा।
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मंत्री डॉ. हरक सिंह रावत ने बताया कि केंद्र सरकार ने सभी उद्योगों, वाणिज्यिक संस्थानों और ठेकेदारों को लॉकडाउन के दौरान पूरा वेतन देने के निर्देश दिए हैं। इसी आधार पर श्रम विभाग ने मार्च का पूरा वेतन देने और किसी को नौकरी से ना निकालने के निर्देश जारी किए हैं। पहले 7 अप्रैल तक वेतन देने को कहा गया था। लेकिन अब 15 अप्रैल तक वेतन हर हाल में देने को कहा गया है। इसके बाद किसी भी कर्मचारी की शिकायत आने पर कानूनी कार्रवाई और एफआईआर की जाएगी। वेतन नहीं देने पर आईपीसी की धारा 188, आपदा प्रबंधन एक्ट 2005 की धारा 51 से 60, महामारी एक्ट 1897 और श्रम कानूनों के तहत कार्रवाई की सकती है।
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सरकार विशेष आर्थिक सहायता दे: पंकज गुप्ता
इंडस्ट्री एसोसिएशन ऑफ उत्तराखंड के अध्यक्ष पंकज गुप्ता ने कहा है कि ज्यादातर उद्योगों ने अपने पल्ले से मार्च का भुगतान कर दिया। लेकिन अप्रैल का भुगतान कैसे करेंगे। ऐसे में अब हमने राज्य और केंद्र सरकार से विशेष आर्थिक सहायता मांगी है।