सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे अपने बयान से राज्य के मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत एक बार फिर चर्चाओं में आ गए हैं। हालांकि सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा उनके बयान का यह वीडियो आधा अधूरा है। परंतु इससे प्रमुख विपक्षी दल कांग्रेस के साथ ही लोगों को भी एक बार फिर बैठे-बिठाए मुख्यमंत्री की आलोचना करने का मौका मिल गया है। जी हां.. सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे इस वीडियो में मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत प्रेस वार्ता में बोलते हुए नजर आ रहे हैं कि “18 से 45 वर्ष के आयु के नौजवानों को आक्सीजन लगना शुरू हो गया है।” शायद वह यहां आक्सीजन की जगह वैक्सीनेशन बोलना चाहते हैं। परंतु इतना तो तय है कि बार-बार फिसलती हुई जुबान से परेशान मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत ने एक बार फिर अपनी किरकिरी करा ली है।
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हालांकि इस वायरल बयान की पूरे वीडियो को देखने के बाद पता चलता है कि न सिर्फ चंद पलों में ही मुख्यमंत्री तीरथ को अपनी इस गलती का अहसास हो जाता है बल्कि वह अपनी इस मानवीय भूल को उसी क्षण सुधार भी लेते हैं। हालांकि जिम्मेदारियों से भरें इस पद पर बार-बार इस तरह की छोटी-छोटी गलतियां करना किसी भी मुख्यमंत्री को शोभा नहीं देता परंतु यह भी सत्य है कि मानवीय भूलों से कोई बच नहीं सकता है। यदि उनमें समय रहते सुधार कर लिया जाए तो आलोचनाओं का कोई भी औचित्य नहीं बनता है। मुख्यमंत्री तीरथ की आलोचना करने से पूर्व उनके बयान का यह पूरा वीडियो भी आपको जरूर देखना चाहिए। वीडियो मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत के शनिवार को किए गए चमोली-रुद्रप्रयाग दौरे के वक्त का बताया गया है।
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इस वीडियो पर काफी तीखे कमेंट आने लगे तो सीएम समर्थकों ने तत्काल ही सच्चाई सामने रखी। समर्थकों समेत कई लोगों ने सीएम का दो मिनट 30 सेंकेंड का वीडियो जारी किया। कहा कि वीडियो में सीएम मीडिया से प्रदेश में आक्सीजन की उपलब्धता पर चर्चा कर रहे हैं। इसी बीच वैक्सीन का जिक्र आने पर उन्होंने पहले आक्सीजन कहा और तुंरत भी बयान सुधारते हुए वैक्सीन बोला।