लॉकडाउन के कारण इस समय जो जहाँ था वो वहीँ फंसा रह गया और सभी अपने घरों के अन्दर ही कैद होने को मजबूर हो गए। सभी काम धंधे इन दिनों बंद चल रहे हैं जिसके कारण अधिकाँश लोग या तो अपनी रोजी-रोटी खो चुके हैं या फिर खोने की कगार पर हैं। और अब देशभर में सभी प्रवासी अपने घरों-गांवों की ओर लौट रहे हैं। उत्तराखंड में भी 1.70 लाख से अधिक प्रवासी वापस प्रदेश में आने के लिए अब तक आवेदन कर चुके हैं। इनमें बड़ी संख्या में वो लोग हैं जो बेरोजगार हो चुके हैं और अब उनके सामने रोजी-रोटी का संकट खड़ा हो चुका है। अब तक 10000 से अधिक लोग वापस उत्तराखंड लाये भी जा चुके हैं।
उत्तराखंड में पलायन सबसे बड़ी समस्याओं में से एक है क्यूंकि यहाँ रोजगार और अच्छी आमदनी न होने के कारण अधिकतर लोग अन्य प्रदेशों की ओर चले जाते हैं। अब इसी को ध्यान में रखते हुए प्रदेश सरकार पिछले कुछ समय अन्दरखाने कुछ ऐसा काम कर रही थी कि ये लोग वापस अन्य राज्यों में न जायें और प्रदेश में ही कुछ काम करैं। इसी को ध्यान में रखते हुए त्रिवेन्द्र रावत सरकार ने बड़ी घोषणायें की हैं। अब मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना के तहत इन बड़ी घोषणाओं का ऐलान किया गया है।
उत्तराखंड में अब जो भी लोग निर्माण क्षेत्र में काम करना चाहेंगे उनके लिए सरकार 25 लाख तक का लोन देने जा रही और और जो लोग सेवा क्षेत्र में काम करने के इच्छुक हैं उनके लिए 10 लाख तक का लोन दिया जाएगा। इसके साथ ही 1.50 लाख से लेकर 6.25 लाख का अनुदान भी देने जा रही है। इन बड़ी घोषणाओं के ऐलान के बाद राज्य में सभी जिलों को इसके लिए निर्देशित भी कर दिया गया है और जिलाधिकारी के ऊपर ही जिम्मेदारी होगी कि किसी भी व्यक्ति को आसानी से यह ऋण मिल सके। तो अगर अब आप भी इस समय वापस उत्तराखंड आ चुके हैं और यहीं रहकर कुछ स्वरोजगार करना चाहते हैं तो ये घोषणायें संजीवनी का काम कर सकती हैं।